गाँव की समस्या

जाने कहां खोती जा रही हैं गांव की संस्कृति
आदि अदृश्य नदी सरस्वती के तट पर बसे हरित प्रदेश हरियाणा अकसर जाना होता है. बदलाव की बयार ऐसी चली ...
गाँव में खबरों का कुँआ हैं
ये उँची-लंबी, विशालकाय बहुमंज़िला इमारते, सरपट दौड़ती-भागती गाड़ीयाँ, सुंदरता का दुशाला औड़े चकमक सड़के, बेवजह तनाव से जकड़ी जिंदगी, चौपालों ...
दलितों के हित बनाम दलित नेतृत्व
देश को स्वाधीन हुए 7 दशक बीत चुके हैं। परंतु दुर्भाग्यवश इन सात दशकों में पूरे विश्व ने जहां ...
हमारी मां से बड़ा दलित कौन ?
सफाई कर्मचारी आंदोलन के प्रणेता बेजवाड़ा विल्सन को मेगासेसे पुरस्कार मिला है। यह पुरस्कार भारत के कई लोगों को मिल ...
उल्टी समझ को शीर्षासन
जातिवाद का जहर भारत की नस-नस में फैल चुका है। अगर कोई इससे लड़ना चाहे तो वह उसे ही लील ...
देश की एकता के लिए खतरा बनती ‘आक्रामकता
भारतवर्ष की पहचान दुनिया में एक ऐसे देश के रूप में बनी हुई है जहां विभिन धर्मो,जातियों, भाषाओं तथा ...
दलितों के नाम पर नौटंकी
गुजरात के ऊना में हुई घटना ने राष्ट्रीय नौटंकी का रुप धारण कर लिया है। इसमें शक नहीं कि मरी ...
न तो हैण्डपंप ही बना न तो हैण्डपंप खराब करने वाले दबंगों के विरूद्ध एफआईआर
परियत, जौनपुर, उप्र। न तो हैण्डपंप ही बना न तो हैण्डपंप खराब करने वाले दबंगों के विरूद्ध एफआईआर ऐसा कहना ...
सूखे पर सबकी आंखें गीली
सर्वोच्च न्यायालय ने केंद्र सरकार को जैसी मार लगाई है, वैसी कम ही लगाई जाती है। दस राज्यों में सूखे ...