गाँव-शहर के आंदोलन

राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ (आरएसएस) तब अौर अब- भाग  2

हिन्दू महासभा एवं आर. एस. एस. के बीच कड़वाहट जैसा विदित है कि वीर सावरकर पहले ही कलकत्ता अधिवेशन के लिये ...

राष्ट्रीय स्वंयसेवक संघ (आरएसएस) तब और अब: भाग-1

हिंदुत्व की बदलती व्याख्याएँ १९२१ ई. में अंग्रेजो ने तुर्की को परास्त कर, वहां के सुल्तान को गद्दी से उतार दिया ...

सद्भावना की परंपरा में देरी नहीं लगती

पटना का प्रसिद्ध हनुमान मंदिर में रामवनवी के दिन आयोध्या के बाद सबसे ज्यादा भीड़ उमड़ती है। राम के जन्मोत्सव ...

सिर्फ हिंदू औरतों को ही क्यों?

शिंगनापुर के शनि मंदिर में औरतों के प्रवेश की मांग पर मुंबई के उच्च न्यायालय ने मुहर लगा दी है। ...

महिलाओं नें चलाया मुहिम, शराब मुक्त बना गाँव

राजस्थान का एक गाँव  महिलाओं की मुहिम के चलते शराब मुक्‍त बन गया है। राजसामंड जिले की भीम तहसील के ...

इरादे हों यदि नेक तो मंजिल खुद मिलती है

कर्म ने मोड़ दिया जिंदगी का रुख जैबुनेशाप्रेरणा लेकर इंसान अपनी तकदीर संवार सकता है। इस बात को जैबुनेशा से बेहतर ...

पर्यावरण को दूषित करता ई-कचरा

डा. विनोद गुप्ता पर्यावरण को लेकर अभी हमारे देश में पूरी तरह जागरुकता नहीं आई है। प्रदूषण जैसे अहम मुद्दे विकास ...

जल से जागरूकता अनवरत जारी

डॉ. मोनिका शर्मा  इस बार होली से पहले महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने राज्य में जल संकट को देखते हुये ...

बांधों से विकास?

-विमल भाई एनएचपीसी कहती है कि बांध से विकास होगा तो फिर प्रश्न ये है कि पूरी जानकारी लोगों को क्यों ...

शौच को शुचिता से जोडने की मुहिम

आजाद भारत का जो सपना लोगों ने गुना-बुना था, वह पूरा न हो सका। कई आकांक्षाएं अधूरी रह गईं और ...